मॉब लिंचिंग के डर से भारत नहीं आना चाहता पीएनबी आरोपी मैहुल चौकसी

नई दिल्ली। पीएनबी मामले के आरोपी मैहुल चौकसी ने अपने खिलाफ गैर जमानती वारंट रद्द करने के लिए सीबीआई कोर्ट से गुहार लगा दी है। मेहुल चौकसी ने कहा कि भारत नहीं आ सकता क्योंकि भारत में मॉब लिंचिंग की वजह से उस अपनी हत्या का डर है।

अग्रेंजी अखबार के अनुसार, मैहुल चौकसी ने याचिका के माध्यम से मुंबई की स्पेशल सीबीआई कोर्ट से संपर्क कर गुहार लगाकर कहा कि उसके खिलाफ जारी गैर जमानती वारंट को रद्द किया जाए। मैहुल ने कहा कि हाल में जिस तरह से मॉब लिंचिंग का ट्रेंड चल रहा है,

उसकी वजह से उसके जीवन को खतरा है और इसलिए वह भारत नहीं आ सकता। गौरतलब है कि सीबीआई कोर्ट ने अप्रैल और मई में मैहुल चौकसी के खिलाफ दो गैर जमानती वारंट जारी किए थे। मैहुल से कहा गया था कि पीएनबी जालसाजी केस में कोर्ट के सामने पेश न होने के लिए वह 10 वजह बताए।

अपने वकील संजय अबॉट और राहुल अग्रवाल के माध्यम से दायर याचिका में, मैहुल चौकसी ने कहा, ‘बेहद सम्मान के साथ कहना चाहूंगा कि मॉब लिंचिंग की तमाम खबरें सामने आ रही हैं। एक मामले में जेल में रहने के दौरान ही एक आरोपी को घेरकर मार डाला गया। मैहुल चौकसी ने कहा कि तमाम लोगों से उसकी जान को खतरा है,

इसलिए वह इस जानकारी को सार्वजनिक नहीं कर सकता कि फिलहाल कहां है। लोगों के पांच समूह खासतौर से उसके खिलाफ गुस्से में हैं। इनमें उसकी कंपनियों के तमाम कर्मचारीहैं, खाता सीज होने की वजह से जिनकी वह बकाया सैलरी नहीं दे पा रहा, गिरफ्तार कर्मचारियों के परिजन, कई मकान मालिक, तमाम बकाएदार और ज्यूलरी ग्राहक भी शामिल हैं।

याचिका में मैहुल चौकसी के न आने की कुछ और वजहों में कहा गया है कि उसका स्वास्थ्य ठीक नहीं है, उसका पासपोर्ट रद्द कर दिया गया है और उसके खिलाफ जांच एजेंसियां भेदभाव कर रही हैं। चौकसी ने दावा किया कि उसका केस उसके भांजे नीरव मोदी के मामले से ‘पूरी तरह से अलग’ है, क्योंकि उसके तमाम शोरूम से एजेंसियों ने ज्यूलरी पहले ही जब्त कर ली है।

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